बीएसपी अध्यक्ष मायावती ने आज साफ कर दिया है कि तीसरे मोर्चे में शामिल होने के बदले में उन्होंने प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार होने की शर्त नहीं रखी है। मायावती ने आज दिल्ली में तीसरे मोर्चे के नेताओं को डिनर पर बुलाया है। इससे पहले उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री का फैसला चुनाव के बाद होगा। मायावती के इस बयान ने तीसरे मोर्चे में बीएसपी की भागेदारी मयावती को प्रधानमंत्री बनाने की शर्त पर की खबर की हवा निकाल दी। पर मायावती ने ये जरूर बता दिया कि उनकी नजर केन्द्र की सरकार पर ही है कांशीराम के सपने को सच करने के लिए मायावती ने जिन राजनीतिक दलों पर निशाना साधा है वो भी साफ करता है कि मायावती की नजर है तो पीएम की गद्दी पर ही। पीएम बनने की बात मुंह में भले ही मायावती जी न लायी हों पर उनका हर शब्द चिल्ला रहा था कि मुझे देश का प्रधानमंत्री बना दो। वैसे ये महज इत्तिफाक नहीं था कि कांशीराम जी के जन्मदिन पर मायावती ने उनका सपना बताया केन्द्र पर कब्जा और उसी दिन उन्होंने अपनी जीवनी का अंग्रेजी तर्जुमा भी जारी किया और ऐन उसी दिन उन्होंने दिल्ली में अपने नए पते का ऐलान किया जो कि संसद के पिछवाड़े है और उ