जिस अंदाज से सूरज की तपन ने धरती को जलाया जी भर के ! बारिश की बूंदों ने भी उसमे मरहम लगाया जी भर भर के ! दोनों के इस खेल मै सारी दुनिया को जो सताया जी भर के ! दोनों की लुका झिपी का मज़ा भी तो सबने लिया जी भर के! अगर सूरज की तपन अपना रंग यु न दिखा पाती इस कदर ! तो बारिश की बुँदे भी अपना कमाल केसे दिखा पाती इस कदर ! इसलिए तो हर जूनून का एक अलग ही मज़ा है संसार मै ! अगर एक भी हमसे झूट जाये तो ज़िन्दगी एक सजा है ! इसलिए कुदरत के इस खेल का तुम जम के मज़ा लो ! सूरज का करो स्वागत हरदम और बारिश का मज़ा लो !