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Showing posts from April 12, 2009

Loksangharsha: बहारें

Loksangharsha: बहारें बहारें बहारें जब गुजरती है ॥ कई चोटें उभरती है ॥ कहीं सरगम हंसी,खुशियाँ - कहीं आहे निकलती है ॥ खुदा महफूज रख बेटी - चिताएं रोज जलती है ॥ कलेजा मुहँ को आता है - कहीं जुल्फें बिखरती है ॥ -----------------डॉक्टर यशवीर सिंह चंदेल 'राही '

प्यार की भी एक मर्यादा हो

भावुकता में न बहकें कुलवंत हैप्पी क्या हुआ रोशनी? तुम उदास क्यों हो? कुछ नहीं रोहिणी...रोशनी मुझसे तो झूठ मत बोलो। मैं तुम्हारी सहेली हूँ, तुम्हारी रग-रग से वाकिफ हूँ, तुम मुझसे कुछ छुपा रही हो। बोला न नहीं, कुछ भी कहो रोशनी तुम मुझे कुछ छुपा रही हो। बोलो न क्या बात हुई, कहते हैं दुख बाँटने से कम होता है और खुशियाँ बाँटने से बढ़ती हैं। तुम्हें पता है न रोहित के बारे में? हाँ तुम दोनों का प्रेम प्रसंग काफी चर्चा में है। क्या झगड़ा हो गया उससे। प्यार में रूठना-मनाना तो लगा ही रहता है। जिन्दगी में सुख-दुःख दोनों होते हैं। नहीं रोहिणी, बात वह नहीं। कल रोहित और मेरे बीच शुरू हुई तकरार ने एक बड़े झगड़े का रूप ले लिया।हुआ यह कि कल मैं और रोहित फिल्म देखने गए थे। फिल्म देखकर हम जब थिएटर से बाहर निकले तो रोहित ने मुझे कहा कि घर में बहाना बनाकर एक दिन के लिए उसके घर जाऊँ क्योंकि उसके माता-पिता बाहर जा रहे हैं। मैंने उसको मना कर दिया, जिससे वो चिढ़ गया और कहने लगा क्या तुम मुझसे प्यार नहीं करतीं, तो मैंने भी कह दिया क्या तुम मुझसे प्यार नहीं करते। वो शारीरिक संबंध बनाने के लिए पिछले कई दिनों से दबाव ड

एमएलए फ्लैट में चल रहा था वेश्यावृत्ति का चोखा धंधा

गुड़गांव. सेक्टर 28 स्थित एमएलए फ्लैट में छापा मारकर पुलिस ने एक कॉलगर्ल सहित सात लोगों को गिरफ्तार किया है। इन सभी के खिलाफ वेश्यावृत्ति के आरोप में मामला दर्ज किया गया है। यह फ्लैट एक पूर्व मंत्री का है जिसे उन्होंने किराए पर दे रखा है। सीआईए स्टाफ के मुताबिक उन्हें गुप्त सूचना मिली थी कि एमएलए फ्लैट नंबर 103 में वेश्यावृत्ति का धंधा चल रहा है। इस सूचना पर शनिवार को वहां छापा मारा गया तो एक कॉलगर्ल सहित सात लोग पकड़े गए। कॉलगर्ल बिहार की है और पिछले कई सालों से दिल्ली में रह रही हैं। पकड़े गए लोगों की पहचान पंजाब के गोबिंदगढ़ निवासी रमेश व कमलदीप, बिहार के चिंटू व राजेश और उत्तरांचल के दिनेश व लक्ष्मण सिंह के रूप में हुई है। पुलिस के मुताबिक यह फ्लैट चिंटू ने किराए पर ले रखा है और वह यहां वेश्यावृत्ति का धंधा चलाता है। लोहे के व्यापारी रमेश व कमलदीप चाचा-भतीजा हैं जो अक्सर पेमेंट लेने गुड़गांव आते रहते हैं। चिंटू इन्हें कॉलगर्ल मुहैया कराता था और ये लोग इसी फ्लैट में अय्याशी करते थे। इसके अलावा राजेश, दिनेश व लक्ष्मण यहां चिंटू के पास काम करते थे। पुलिस ने इन सभी के खलाफ देह व्यापार

ये कैसी जिन्दगी मुझे जीनी पड़ गई....!!

जुर्म किए थे इतने,चदरिया झीनी पड़ गई उम्र भी कमबख्त आख़िर दीन्ही पड़ गई !! था शुक्र मुझपे इतना कि खुशियों का हाय कुछ ख़ुशी कम करने को पीनी पड़ गयी !! पता नहीं क्यूँ ऊपर वाले ने भेजा मुझे यहाँ जिन्दगी जीने की खातिर जीनी पड़ गयी !! लानत है मुझपे कि वक्ते-हयात पिया न गया जन्नत में खुदा के साथ को पीनी पड़ गयी !! मैं अपने साथ लाया था कुछ सुख की शराब ना चाहते हुए भी आदम को पीनी पड़ गयी !! मैं अपनी कब्र पे बैठा सोचा किया "गाफिल" ये कैसी जिन्दगी थी जो मुझे जीनी पड़ गयी !!

कैटवॉक करती भारत की जनता

कुछ दिनों से देख रहा हु राजनीति में नए नए प्रयोगों किये जा रहे है सभी का रंग ढंग बदला है कारण एक मात्र सत्ता की चाहत , सभी चाहते है सत्ता सुंदरी का रसपान करना यहाँ मै एक बात जरुर कहना चाहुगा जो मेरी नहीं बल्कि " मोहल्ले " से ली गई है उन्होंने बहुत अच्छी बात लिखी थी "सम्मान भीख में नहीं मिलता और इज्जत बेचारों की बीवी का नाम नहीं हो सकता। पत्रकारों को पहले खुद अपने सम्मान के लिए आवाज उठानी होगी। उन्हें खुद कहना होगा कि हम न तो रैंप पर चलेंगे, न विज्ञापन के लिए कलम बेचेंगे। अगर दम है तो बात करो, दम से बात करो। वरना जोकर लगोगे और जमाना ऐसे ही रैंप पर घुमाएगा।" इन वाक्यो में बहुत दम है पर इसे वृहत रूप में देखे तो ये देश पर भी लागु होती है चंद लोगो को रैंप पर कैटवॉक क्या कराया सारे बरस पड़े उन पर , इसमें बुधजिवी से लेकर बाकि भी शामिल थे..... पर उनका क्या जो ६० साल से हमें और सारे देश को कैटवॉक कराते चले आरहे है हा मै राजनीति की ही बात कर रहा हुं पुरे ६० साल से भी ज्यादा हो गए जनता और देश को कैटवॉक कराते कभी कपडे के तो कभी बिना कपडे के तब हम क्यों कुछ नहीं कर पाए मुझे या