एक है भिलाई के स्टील पुरुष जिन्होंने ब्लोगिंग को प्यार करना सिखाया है भिलाई स्टील फेक्ट्री का एक नोजवान जिसकी बोडी फोलाद की और दिल मोम का बना हे, चेहरे पर मुस्कुराहट है ,और दिल दिमाग में ब्लोगिंग को प्यार के सूत्र में बाँधने का जूनून सवार है जी हाँ इसी नोजवान का नाम बी एस पाबला है. लोहे और स्टील में रहकर खुद को मोम बनाकर रखना और किसी के भी प्यार की हल्की सी भी गर्मी से खुद को पिघला डालना कोई मामूली फितरत नहीं इसके लियें इंसान को अपने सभी निजी जज्बात ,निजी झगड़े फसादों को ताक में रखना पढ़ता है और पाबला जी इसीलियें धेर्य ,संयम से खुद को काबू में रखकर एक कामयाब ब्लोगर बमे हैं . जी हाँ दोस्तों पाबला जी रायपुर की रविशंकर यूनिवर्सिटी से निकले और भिलाई स्पात संयत्र में टेलीक्म्युनेशन का कामकाज जा सम्भाला ,पाबला जी ने अपने टेलीकम्युनिकेशन के हुनर का सदुपयोग किया और ब्लोगिंग की दुनिया में ज़ोर आज़माइश शुरू की ,खुद पाबला जी को भी पता नहीं होगा के वोह उनके इस हुनर और प्यार बांटते चलो के नारे के कारण विश्व की हिंदी ब्लोगिंग दुनिया के खुसूसी ब्लोगर बन जायेंगे पाबला जी का य