प्रोपर चैनल का फण्डा-भ्रष्टाचार का झण्डा भाजपा में हाल ही में शामिल नौकरशाह श्री आर.के.सिंह ने गृहमंत्री पर सनसनीखेज आरोप लगाए हैं। इसको लेकर विभिन्न टिप्पणियाँ आ रही हैं। इस पर एक प्रश्न यह उठाया जा रहा है कि श्री सिंह ने सेवा के दौरान उचित मंच पर ये मुद्दे क्यों नहीं उठाए? ऐसा पहली बार नहीं हुआ है कि किसी नौकरशाह ने सेवानिवृत्ति के बाद खुलासे किए है। ऐसा पहले भी होता रहा है और आगे भी होता रहेगा। मेरा इस मुद्दे की सच्चाई से या इसके पक्ष/विपक्ष से कोई सरोकार नहीं है। मैं किसी राजनीतिक पार्टी से भी जुड़ा नहीं हूँ, जो किसी का समर्थन या विरोध करने का पूर्वाग्रह हो। मैं इस विषय को प्रशासन/प्रबंधन व्यवस्था के दृष्टिकोण से प्रस्तुत कर रहा हूँ। मैं इसके माध्यम से एक ऐसी व्यवस्था को उठा रहा हूँ, जो भ्रष्टाचार को संरक्षण देती है, जिसके कारण प्रशासन में भ्रष्टाचार फल-फूल रहा है। पद-सोपान श्रृंखला एक ऐसी ही व्यवस्था है। प्रशासन के क्षेत्र में यह एक महत्वपूर्ण व्यवस्था है और प्रत्येक कार्यालय में इसके पालन पर जोर दिया जाता है। यह प्रबंधन में भी है और प्रशासन में भी। सरकारी कार्यालयों