हर किसी के दिल के अन्दर॥ प्रियतम की कूक सुनाई देती॥ हर किसी के आँखों में ढल के॥ प्रियतम की प्रीत दिखाई देती॥ सुहाना लगता है सफर ॥ जब सांझ को साजन मिले॥ चेहरे से चेहरा को देखे॥ होठो में मुस्कान लिए॥ उनकी बोली से मोती निकले॥ मीठी बातें हंसे देती॥ हर किसी के आँखों में ढल के॥प्रियतम की प्रीत दिखाई देती॥ झिर-झिर पवन हिलोरे॥ सावन रिम-झिम हस हस बोले॥ चिडिया चूचू गीत सुनावत॥ मन की बगिया आनंद लुटावत॥ अकेले मिल कर धीरे से हंस कर॥ मन की बातिया बाते देती॥ हर किसी के आँखों में ढल के॥प्रियतम की प्रीत दिखाई देती॥