नंगे अमेरिका को कौन बचाए
अमेरिका का प्रथम नागरिक बदल चुका है ,अमेरिका के हालत बदल चुके है कही मंदी तो कही अनेकों प्रकार की समस्याएँ मुह खोले खड़ी हुई है! ओबामा से देश को काफी उमीदें है की बह मंदी से निजात दिलाएगा और अमेरिका की रहीसी फिर कायम रही सकेगी ! जबकि नासमझ अमरीका की जनता यह जानती ही नहीं की मंदी से बड़ी समस्या उनके साम नंगापन दूर करने की है ..जो उनके लिए खतरे का सबब बनता जा रहा है ..जिसे शायद ओबामा का पूरा खानदान भी न मिटा सके !!जी हां दोस्तों अमेरिका की अमेरिकन sextiual रिसर्च सेण्टर की एक रिपोर्ट अमेरिका के लिए काफी बुरी खबर बन गयी है ..एजेन्सी की रिपोर्ट के अनुसार अमेरिका की १४ साल की ८७ प्रतिसत लड़कियां सेक्स कर चुकी होती है और बही लड़कों का प्रतिसत महज ५३ प्रतिसत है ...इससे बड़ी चौकाने बलि बात तो यह है की १४ साल के लड़कों का प्रतिसत कम क्यों है लेकिन इसके पीछे जो तथ्य है बह बहुत की है भारत की नजर मे !तो बात यह है की अमेरिका की १४ साल की लड़कियों को सेक्स के लिए अमेरिका के ३५ साल से ४० साल के मर्द अधिक प्रभाबित है रहे है ..हैं न बुड्ढों के लिए खुशी की बात ! ये अधिक उम्र के मर्द उन्हें स्कूल, कालेज मे आसानी से उपलब्ध हो रहे है !सर्वे के अनुसार ऐड्स जैसी खतरनाक बीमारी अमेरिका मे तेजी से फ़ैल रही है !एक अमेरिकी ऐड्स से पीड़ित २१ साल की लड़की की बातों पर यंकी करे तो बह १४ साल की उम्र से २० साल तक की उम्र मे अलग अलग १७२ मर्दों के साथ सेक्स सम्बन्ध बना चुकी है ..औए एक साल पहेले उसे ऐड्स ने जकड लिए वरना आज उसका रिकॉर्ड कुछ और ही होता !!!इसमें आसामान्य बात ये है की सर्वप्रथम उसके साथ सेक्स सम्बन्ध उसके स्कूल के बिज्ञान के शिक्षक ने बनाये थे ..इसके बाद यह बात कुछ शिक्षक को पता चली जिसके बाद हर एक मर्द शिक्षकने उसके जिस्म के साथ खेल खेला और बात यही तक सीमित नहीं रही शिक्षक के बाद छात्रों के नंबर लगने लगे स्कूल का एक बहुत बड़ा भाग उसके साथ सम्बंद बना चुका था ..इस काम मे उसे भी बहुत मजा आता था ..हर रोज एक नया मर्द !!अमेरिका मे ऐसे शिक्षक की कमी नहीं है जो अपने जिस्म की प्यास बुझाने के लिए कम उम्र की लड़कियों का उपयोग शिक्षा के नाम पर करते है ..औए उनकी जवानी बर्बाद कर छोड़ देते है !अमेरिका के पास पैसा है ,नाम है पर इज्जत ने नाम पर नंगापन ही है ! ओबामा मंदी से तो अमेरिका को बचा लेंगे लेकिन इस नंगेपन से अमेरिका को कौन बचायेगा शायद भारतीय संस्कृति उन्हें बचा सकती है !गर्व करो की हम हिन्दुस्तानी है और हवासियों के लिए इससे जायदा दुःख की बात नहीं है की बह हिन्दुस्तानी है !
संजय सेन सागर
www.yaadonkaaaina.blogspot.com
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पैसे के भीतर ही नंगापन है...जो पैसा आते ही पैसेवाले में दृष्टिगत होता है....बेशक यह सापेक्षिक है....मगर इस सच को झुठलाने की चेष्टा भी भला कितनों ने की है ....????
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