राजनीति में आकर हर खेल खेल जाते हैं ; जीत न मिली तो भारी हार झेल जाते हैं , जिनके खिलाफ बोलकर हम वोट मांगते हैं वो सामने पड़ जाये तो ''सद्भाव '' दिखाते हैं . शिखा कौशिक http://netajikyakahtehain.blogspot.com/
केहि कारण पान फुलात नही॥? केहि कारण पीपल डोलत पाती॥? केहि कारण गुलर गुप्त फूले ॥? केहि कारण धूल उडावत हाथी॥? मुनि श्राप से पान फुलात नही॥ मुनि वास से पीपल डोलत पाती॥ धन लोभ से गुलर गुप्त फूले ॥ हरी के पग को है ढुधत हाथी..
गज़ब का हुस्नो शबाब देखा ज़मीन पर माहताब देखा खिजां रसीदा चमन में अक्सर खिला-खिला सा गुलाब देखा किसी के रुख पर परीशान गेसू किसी के रुख पर नकाब देखा वो आए मिलने यकीन कर लूँ की मेरी आँखों ने खवाब देखा न देखू रोजे हिसाब या रब ज़मीन पर जितना अजाब देखा मिलेगा इन्साफ कैसे " अलीम" सदकतों पर नकाब देखा
bahut sahi bat kahi.netaon ki ye hi bat,
ReplyDeletemilte,batiyate,karte ghat..